अलग अलग मुद्दों पर अपनी ही पार्टी के नेतृत्व वाली सरकार को घेरने वाले भाजपा सांसद सुब्रमण्यम स्वामी ने एक बार फिर मोदी सरकार पर तंज कसा है। पश्चिम बंगाल की ममता सरकार में वित्त मंत्री अमित मित्रा ने देश का आर्थिक नुकसान गिनाया तो भाजपा सांसद सुब्रमण्यम स्वामी ने कहा कि मोदी सरकार की वित्त मंत्री जवाब देंगी।
पश्चिम बंगाल के वित्त मंत्री अमित मित्रा ने गुरुवार को तीन ट्वीट कर कहा कि मोदी सरकार के कार्यकाल में करीब 35000 भारतीय उद्यमी देश छोड़ कर चले गए और उन्होंने प्रधानमंत्री मोदी से इसको लेकर संसद में एक श्वेत पत्र दाखिल करने की मांग की।
अमित मित्रा के इसी ट्वीट से जुड़े समाचार पत्र टेलीग्राफ के आर्टिकल को अपने ट्विटर अकाउंट से साझा करते हुए भाजपा सांसद सुब्रमण्यम स्वामी ने केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण से जवाब मांगा।
भाजपा सांसद ने ट्वीट करते हुए लिखा कि मोदी सरकार के वित्त मंत्री को इसका जवाब देना चाहिए। अमित ने ड्यूक विश्वविद्यालय से अर्थशास्त्र में पीएचडी किया है और वह रात में उड़ने वालों में से नहीं हैं।
दरअसल बीते गुरुवार को पश्चिम बंगाल की तृणमूल सरकार में वित्त मंत्री अमित मित्रा ने एक के बाद एक ट्वीट कर देश का आर्थिक नुकसान गिनाया। अपने पहले ट्वीट में अमित मित्रा ने लिखा कि मोदी सरकार में उंचे नेट वर्थ वाले करीब 35,000 भारतीय उद्यमियों ने 2014-2020 के बीच एनआरआई/आप्रवासियों के रूप में भारत छोड़ दिया।
FM in the Modi Ministry must answer this. Amit has a Ph.D in economics from Duke University and is not one of those fly by night types https://t.co/DmihOEtfJX
— Subramanian Swamy (@Swamy39) October 23, 2021
भारत दुनिया में पलायन में नंबर 1 पर है। आखिर क्यों? भय मनोविकृति ?? प्रधानमंत्री को अपने शासन के दौरान भारतीय उद्यमियों के देश छोड़ने पर संसद में श्वेत पत्र प्रस्तुत करना चाहिए।
इसके अलावा उन्होंने अंतरराष्ट्रीय संस्थाओं के आंकड़े देते हुए लिखा कि साल 2014-18 के बीच करीब 23000, 2019 में करीब 7000, 2020 में करीब 5000 उद्यमियों ने भारत छोड़ा।
साथ ही उन्होंने पिछले दिनों वाणिज्य मंत्री पीयूष गोयल के द्वारा दिए गए भाषण का उल्लेख करते हुए लिखा कि उनके द्वारा भारतीय व्यापारिक घरानों के खिलाफ दिए गए 19 मिनट वाले भाषण को याद करें जिसमें उन्होंने कहा था कि भारतीय उद्योग की व्यावसायिक प्रथाओं ने राष्ट्रीय हितों के खिलाफ काम किया और उन्हें राष्ट्र-विरोधी कहा। इसी से भय पैदा होता है जिसकी वजह से लोग पलायन करते हैं। आखिर प्रधानमंत्री ने इसके लिए पीयूष गोयल को फटकार क्यों नहीं लगाई।
बता दें कि बीते दिनों कन्फेडरेशन ऑफ इंडियन इंडस्ट्री (CII) की सलाना बैठक में केंद्रीय वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने टाटा समूह की आलोचना की थी और उनकी व्यापार नीति को देशहित के खिलाफ बताया था। पीयूष गोयल के इस बयान की विपक्षी पार्टियों ने जमकर आलोचना की थी।